सरकार अब एक जुलाई 2017 से जी.एस.टी.लागू करने वाली है और इसके लिए आपको विशेष रूप से छोटे एवं मझोले व्यापारियों एवं लघु एवं माध्यम दरजे के उद्योगों को जी.एस.टी. की जानकारी देने के लिए एक सीरीज प्रारम्भ कर रहें है है इसे आप पढ़कर समझने की कोशिश करें कि आने वाले समय में आपको किस प्रकार से जी.एस.टी.कानून का पालन करना है और किस तरह ये आपके व्यापार को प्रभावित करेगा.जी.एस.टी.के दौरान आपको प्रारम्भिक रूप से यह देखना है कि अब आपको एक ही बिक्री पर दो करों को एकत्र करना है
जी.एस. टी. के लिए 1 अप्रैल 2017 की तारीख तो अब स्थगित की जा चुकी है और अब नयी तारीख 1 जुलाई 2017 दी गई है . एक तारीख और है 16 सितम्बर 20017 और इस तारीख तक यदि जी.एस.टी. लागू नहीं हुआ तो एक अप्रत्यक्ष करो को लेकर एक संकट पैदा हो जाएगा क्यों की जी.एस.टी. संवैधानिक संशोधन विधेयक के अनुसार 16 सितम्बर 2017 को अभी लागू सभी कर समाप्त हो जायेंगे.
GST is not coming on 1st April 2017 and now lawmakers have given new date 1st July 2017. You mean to say that they will give a new date 1st Sept. 2017 and then have a situation in which again they will postpone it.
जी.एस.टी. की जो पिछली कुछ बैठकें हुई थी उनमें से अंतिम तीन मीटिंग्स में जो मुद्दा सबसे अधिक चर्चा का विषय बना था वह था करदाताओं के ऊपर दोहरे नियंत्रण अर्थात ड्यूल कण्ट्रोल का.
The GST council has at last resolved the so called deadlock of Dual Control problem over the GST Dealers and now as per the promise of lawmakers one dealer will be controlled by one authority and will not be put under dual control but the solution is very unique and not practical.
जी.एस.टी. के दौरान केन्द्रीय बिक्री कर अर्थात सी.एस.टी. का पूर्ण रूप से अंत हो जाएगा एवं सी फॉर्म एकत्र करने की कोई समस्या भी नहीं रहेगी. लेकिन एक प्रश्न फिर भी उठता है कि तब एक राज्य से दूसरे राज्य के बीच होने वाले व्यापार को किस प्रकार से नियमित एवं नियंत्रित किया जाएगा.
A new model proposed GST to monitor the interstate trade of Goods and Services and this is called IGST i.e. Integrated Goods and Service Tax.
The government of India is very keen to introduce Goods and Service Tax in India from 1st April 2017 and the preparation for the same is in full swing.
आइये समझे कि क्या स्वरुप होगा भारत में लगने वाले जी.एस.टी. का और किस तरह करदाता इसका पालन करेंगे और इसका क्या प्रभाव पडेगा भारतीय उपभोक्ताओं पर, और सरकार की किस तरह की तैयारी है जी.एस.टी. को लेकर . इसके अतिरिक्त इस समय जी.एस.टी. को लेकर नया क्या हो रहा है और अंत में क्या संभावना है कि जी.एस.टी. 1 अप्रैल 2017 से लागू हो पायेगा या नहीं और साथ ही कुछ और भी महत्वपूर्ण प्रश्न जी.एस.टी. को लेकर :-
जी.एस.टी. को लेकर भारत सरकार के प्रशासनिक प्रयास तेज हो चुके है और विभिन्न राज्यों के डीलर्स का जी.एस.टी. नेटवर्क पर रजिस्ट्रेशन कार्य प्रारम्भ हो चुका है.